औरंगाबाद: औरंगाबाद-हरिहरगंज मुख्य पथ पर बुधवार की रात घेऊरा मोड़ के पास तेज रफ़्तार स्कॉर्पियो और स्विफ्ट डिजायर की टक्कर में एक ही परिवार के पांच लोग से घायल हो गए। क्षतिग्रस्त कार में से स्थानीय लोगों ने पांचों को निकला। इलाज के दौरान धीरज कुमार (35) और उनकी पत्नी ज्योति देवी (30) की मौत हो गई। उनके तीनों बच्चों को चोट आई। छोटी बेटी शिवन्या कुमारी गंभीर रूप से घायल है।
गंभीर रूप से घायल शिवन्या का इलाज जमुहार (रोहतास) में किया जा रहा है। बड़ी बेटी सुहानी कुमारी और पुत्र आदित्य कुमार को हल्की चोट आई। मृतक दंपति सिमरा थाना क्षेत्र के बराव गांव निवासी थे। जिन्हें बैरावं स्थित सूर्य मंदिर के समीप श्मशान घाट में उनके 9 साल के मासूम बेटे ने मुखाग्नि दी।
मामले की जानकारी परिजनों को दी गई। मृतक धीरज कुमार के चचेरे भाई ने बताया कि पूरा परिवार छठ पूजा के लिए कपड़े की खरीदारी कर बाजार से लौट रहे थे। उसी दौरान यह घटना हुई। तीनों बच्चे नाबालिग हैं। उनके सिर से माता-पिता का साया उठ गया है।
मृतक के चचेरे भाई मुन्ना मेहता ने बताया कि बुधवार की दोपहर 2 बजे घर से निकले थे। बोला कि शुगर जांच करवाकर बच्चों का कपड़ा खरीदना है। पत्नी ज्योति देवी को इस साल छठ पूजा करने अपने मायके झारखंड बोकारो स्थित बेरमो खुसरो सुभाष नगर जाना था। जिसको लेकर तैयारी चल रही थी।
आगे बताया कि मृतक धीरज के पिता कुलदीप मेहता की चार साल पहले प्राकृतिक निधन हो गई थी। वहीं, करीब 4 माह पहले धीरज की मां लाख रानी कुंवर की मौत हो गई है। धीरज दो भाई थे। जिसमें यह छोटा था। यह पूरे परिवार के साथ भाई से अलग रहकर कृषि कार्य और एक ट्रैक्टर से गांव घर में खेती कर अपने परिवार का भरण पोषण करते था।
कुटुंबा प्रखंड प्रमुख और जेडीयू नेता धर्मेंद्र कुमार वर्मा ने कहा कि मृतक धीरज सामाजिक कार्यकर्ता थे। समाज के हर वर्गों को एक साथ लेकर चलने का कार्य करते थे। वो मेरे ही गांव के रहने वाले थे। इससे बड़ी दुखद दुर्घटना कुछ और नहीं हो सकती। तीन बच्चों के सर से उनके माता-पिता का छाया हट गया है। जिला प्रशासन से आग्रह होगा कि जल्द ही आपदा कोष से मृतक के आश्रितों को मुआवजा राशि दी जाए। बाल संरक्षण के तहत मुआवजा राशि बच्चों को दिया जाए।