गया: गया के बेलागंज विधानसभा उपचुनाव को देखते हुए एनडीए ने अपने सभी घटक दलों के जिलाध्यक्षों को एक मंच पर इकट्ठा कर गठबंधन की मजबूती का परिचय देने की कोशिश की। खास बात यह रही कि जदयू द्वारा आयोजित इस प्रेस कांफ्रेंस में एनडीए नेताओं ने जोर-शोर से दावा किया कि इस बार बेलागंज में राजद के 35 साल पुराने किले को ध्वस्त करने के लिए एक ‘दमदार’ प्रत्याशी मैदान में उतारा गया है। लेकिन वह ‘दमदार’ प्रत्याशी मनोरमा देवी प्रेस कांफ्रेंस से नदारद रहीं। ऐसे में जदयू की प्रत्याशी मनोरमा देवी की अनुपस्थिति ने कई सवाल खड़े कर दिए। मनोरमा देवी पिछले कुछ समय से मीडिया से दूरी बनाए हुए हैं, जिससे राजनीतिक हलकों में तमाम अटकलें तेज हो गई हैं।
एनडीए नेताओं ने जनता के समर्थन का हवाला देते हुए कहा कि इस बार बेलागंज की जनता बदलाव चाहती है। जदयू जिलाध्यक्ष द्वारिका प्रसाद से जब यह पूछा गया कि 2020 के विधानसभा चुनाव में उनकी प्रत्याशी मनोरमा देवी अतरी विधानसभा से चुनाव हार चुकी थीं, तो उन्होंने जवाब दिया कि बेलागंज में जनता इस बार बदलाव के मूड में है। उन्होंने यह भी कहा कि मनोरमा देवी ने पहले भी कई बार जीत दर्ज की है, लेकिन यह तथ्य भी सामने आया कि वे लगातार बीते कुछ समय से चुनाव हार रही हैं, जिस पर जिलाध्यक्ष कोई ठोस जवाब नहीं दे सके।
इस मौके पर एनडीए के नेताओं ने बेलागंज में ‘आतंक राज’ और ‘राक्षस राज’ खत्म होने की बात कही, जो कि क्षेत्र की वर्तमान स्थिति को लेकर गंभीर संकेत हैं। हालांकि, यह देखना दिलचस्प होगा कि क्या एनडीए का यह दावा केवल चुनावी जुमला साबित होता है या जनता के मूड के अनुरूप वास्तविक बदलाव लेकर आता है। अब सबकी निगाहें एनडीए की आगामी रणनीति पर हैं, खासकर तब, जब खुद उनकी प्रत्याशी लगातार दो बार से हार का सामना कर चुकी हैं।
इस मौके पर प्रमंडल प्रभारी अरुण कुशवाहा,भाजपा जिला अध्यक्ष प्रेम प्रकाश उर्फ चिंटू,जदयू जिला अध्यक्ष द्वारका प्रसाद, लोक जनशक्ति पार्टी रामविलास जिला अध्यक्ष दिलीप सिंह,राष्ट्रीय लोक मोर्चा के जिला अध्यक्ष बंटी कुशवाह, हम के राष्ट्रीय प्रवक्ता सह सांसद प्रतिनिधि रोमित कुमार मौजूद थे।