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पटनाः बिहार बोर्ड की तरफ से ली जा रही सक्षमता परीक्षा की शुरुआत हो गई है। पहले दिन शिक्षकों ने परीक्षा के बाद सरकार के खिलाफ खूब नराजगी जताई है। एग्जाम देकर निकले शिक्षक कैंडिडेट्स ने कहा कि पेपर BPSC से भी कठिन था। कुछ ने कहा कि सारे सवाल सिलेबस के बाहर से थे। ये सवाल प्रोफेसर्स से करने चाहिए अगर वो पास हो जाते हैं तो हम भी पास हो जाएंगे।

बिहार के 9 जिलों के 52 कंप्यूटर परीक्षा केंद्रों पर परीक्षा आयोजित की जा रही है। पहली पाली की परीक्षा में सेंटर्स पर एंट्री के दौरान शिक्षक अभ्यर्थियों के जूते, बेल्ट और जैकेट भी खुलवा दिए गए। इस दौरान परीक्षा केंद्र पर पहुंचे शिक्षक ने कहा की परीक्षा के लिए तैयारी अच्छी है। इससे पहले मैंने ऑनलाइन परीक्षा कभी नहीं दी है। सरकार सिर्फ उल्लू बनाती है। हम अपने बच्चों के साथ परीक्षा देने आए हैं। अब बताइए मेरा बच्चा मुझे बोल रहा है बेस्ट ऑफ लक। जिनको हम पढ़ाते हैं वह हमें बेस्ट ऑफ लक बोल रहा है। यह सरकार की बेशर्मी है। हम इससे ज्यादा क्या बोल सकते हैं।

बता दें कि परीक्षा दो पालियों में है और पहली पाली की परीक्षा सुबह 10:00 बजे से लेकर दोपहर 12:30 तक हुई। वहीं, दूसरे पाली में रिपोर्टिंग टाइम दोपहर 1:30 बजे से 2:30 बजे तक होगी। परीक्षा 3 बजे से शाम 5 बजे तक चलेगी। दिव्यांग शिक्षकों के लिए प्रथम पाली में परीक्षा 10:00 बजे से 1:20 बजे और दूसरी पाली दोपहर 3:00 बजे से शाम 6:20 बजे तक होगी। बिहार विद्यालय परीक्षा समिति ने सक्षमता परीक्षा की तारीखों में बदलाव किया है। पहले एग्जाम 26 फरवरी से 13 मार्च तक होनी थी। जिसे घटाकर अब 6 मार्च तक कर दिया गया है। इंटर परीक्षा के मूल्यांकन के चलते बोर्ड ने यह निर्णय लिया है।

सक्षमता परीक्षा देने के बाद मूल्यांकन कार्य में नियोजित शिक्षकों को लगाया जाएगा। बिहार में नियोजित शिक्षकों की संख्या कुल 3.50 लाख के करीब है। सक्षमता परीक्षा के लिए 2.32 लाख नियोजित शिक्षकों ने ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन किया है।
फिलहाल, अभी नई नियमावली के अनुसार राज्य कर्मी का दर्जा के लिए नियोजित शिक्षकों को एग्जाम पास करने के लिए तीन अवसर दिए जाएंगे। आगे इसे बढ़ाकर 5 किया जाएगा। शिक्षा मंत्री विजय कुमार चौधरी ने कहा था कि जिन्हें ऑनलाइन परीक्षा देने में परेशानी है, उनके लिए दो बार ऑफलाइन परीक्षा का आयोजन किया जाएगा। 26 फरवरी से होने वाली सक्षमता परीक्षा में अब अलग-अलग कक्षाओं के लिए सात श्रेणी में कुल 59 विषयों की परीक्षा आयोजित की जाएगी। परीक्षा में कोई नेगेटिव मार्किंग नहीं है। इनमें पहली से पांचवीं में एक विषय की परीक्षा होगी।

वहीं, छठी से आठवीं में आठ विषयों की परीक्षा होगी। इसके अलावा माध्यमिक (नवमीं से दसवीं) में 19 विषयों और उच्च माध्यमिक (11वीं से 12वीं) में 31 विषयों की परीक्षा ली जाएगी। प्रारंभिक, हाई और इंटर स्कूलों में पढ़ाए जाने वाले कोर्स से सवाल पूछे जाएंगे। सक्षमता परीक्षा में कुल 150 वस्तुनिष्ठ प्रश्न होंगे। इसमें कक्षा 1 से 5 के लिए के लिए भाषा से 30, सामान्य अध्ययन से 40 और सामान्य विषय से 80 प्रश्न पूछे जाएंगे। इसी तरह के अंक प्रश्न छठी से आठवीं, नौवीं व दसवीं तथा 11वीं व 12वीं के नियोजित शिक्षकों से पूछे जाएंगे।

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