बिहार विधानसभा चुनाव में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन की स्पष्ट बहुमत के साथ सरकार बनती हुई दिख रही है। शुरुाती रुझान अगर परिणाम में बदलते हैं तो एकबार फिर बिहार में एग्जिट पोल गलत साबित होता दिख रहा है। बिहार के मतदाताओं में बीजेपी-जेडीयू गठबंधन की लोकप्रियता बनी हुई दिख रही है। शुरुआती रुझानों में बिहार की जनता प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की जोड़ी पर भरोसा करती हुई दिख रही है।
आपको बदा दें कि बिहार विधानसभा चुनाव में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कुल 12 रैलियां कीं। उन्होंने इस दौरान सासाराम, गया, भागलपुर, दरभंगा, मुजफ्फरपुर, पटना, छपरा, पूर्वी चंपारण, समस्तीपुर, पश्चिम चंपारण, सहरसा और फारबिसगंज में चुनावी रैलियों को संबोधित किया और एनडीए उम्मीदवार के पक्ष में वोट मांगे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जहां-जहां रैली की है, अधिकांश जगहों पर एनडीए उम्मीदवारों को बढ़ता मिलती दिख रही है।
दरभंगा की ही बात करें तो एनडीए को दस में नौ सीटों पर फिलहाल बढ़त मिलती दिख रही है। मुजफ्फुर में भी बीजेपी प्रत्याशी सुरेश कुमार शर्मा आगे चल रहे हैं। इसके अलावा पटना की भी अधिकांश सीटों पर बीजेपी-जेडीयू गठबंधन को बढ़त मिली हुई है। सहरसा सीट की बात करें तो यहां भी बीजेपी के आलोक रंजन आरजेडी की बहुचर्चित प्रत्याशी लवली आनंद से आगे चल रहे हैं।
आपको बता दें कि खबर लिखे जाने तक जेडीयू-बीजेपी गठबंधन 128 सीटों पर आगे चल रही है। वहीं, 102 सीटों पर आरजेडी-कांग्रेस गठबंधन को बढ़त मिलती हुई दिख रही है। इसके अलावा चार सीटों पर लोजपा और नौ पर अन्य को बढ़त है।