पटना डेस्कः जन सुराज में नेताओं की नाराजगी अब खुलकर सामने आने लगी है। जनसुराज की कोर कमेटी गठित होने के साथ ही पार्टी के दो कद्दावर नेताओं ने इस्तीफा दे दिया। जनसुराज के सूत्रधार प्रशांत किशोर को भेजे पत्र में पूर्व सांसद मुनाजिर हसन और पूर्व केंद्रीय मंत्री देवेंद्र प्रसाद यादव इस्तीफा देने की घोषणा की है। अपने पत्र में दोनों ने कहा है कि वे कोर कमेटी के सदस्य पद से इस्तीफा दे रहे हैं। हालांकि इस्तीफे की कारण निजी बताया गया है, लेकिन सच्चाई ये है कि पार्टी के कई नेता अंदर से काफी नाराज चल रहे हैं।
बात मोनाज़िर हसन की करे तो 15वीं लोकसभा में भारतीय संसद के सदस्य थे और बेगूसराय का प्रतिनिधित्व करते थे। इसके अलावा बिहार सरकार मंत्री पद पर रहते हुए कई विभाग को संभाल चुके है। वे 22 जुलाई 2024 को जन सुराज पार्टी में शामिल थे, लेकिन बहुत जल्द ही पार्टी के काम से नाराज हो गए है। वहीं देवेंद्र प्रसाद यादव झंझारपुर से राष्ट्रीय जनता दल के टिकट पर सांसद रहे और केंद्र में मंत्री पद संभाल चुके हैं। वे 27 अगस्त, 2024 को जन सुराज में शामिल हुए थे। देवेंद्र यादव राजद प्रमुख लालू प्रसाद के समय से ही वरिष्ठ समाजवादी नेता रहे हैं और मिथिलांचल क्षेत्र में झंझारपुर लोकसभा क्षेत्र (1989-1998 और 1999-2009) से सांसद रह चुके हैं।
इसके अलावा वे फुलपरास विधानसभा क्षेत्र से विधायक भी चुने गए थे। वे युवा लोक दल के राष्ट्रीय अध्यक्ष थे और जून 1996 में तत्कालीन प्रधानमंत्री देवेगौड़ा और इंद्र कुमार गुजराल के मंत्रिमंडल में वाणिज्य के अतिरिक्त प्रभार के साथ खाद्य, नागरिक आपूर्ति, उपभोक्ता मामले और सार्वजनिक वितरण मंत्री के रूप में कार्य कर चुके हैं।
बता दें कि कोर कमिटी में वरीयता का ख़्याल नहीं रखने से वरिष्ठ नेताओं में भारी बेचैनी है.डॉ.मोनाज़िर हसन सरीखे क़द्दावर मुस्लिम नेता को कोर कमिटी की सूची में 20वें नम्बर पर रखा गया. देवेन्द्र यादव और मोनाज़िर हसन के कोर कमिटी छोड़ देने से जन सुराज का बनता एक मज़बूत स्तम्भ टूट जायेगा।
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