पटना:
Bihar Election 2025 के बीच बिहार की सियासत में बयानबाजी का दौर लगातार तेज़ होता जा रहा है। इस बार सुर्खियों में हैं केंद्रीय मंत्री और लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के सुप्रीमो चिराग पासवान, जिन्होंने महागठबंधन पर करारा हमला बोला है। उन्होंने कहा कि आज महागठबंधन में जो स्थिति है, वह उसकी अंदरूनी कमजोरी और आपसी मतभेद को उजागर करती है।
चिराग पासवान ने तंज कसते हुए कहा कि “गठबंधन (महागठबंधन) में इन दिनों इतना कुछ चल रहा है और राहुल गांधी कहां हैं?” उन्होंने सवाल उठाया कि क्या राहुल गांधी और तेजस्वी यादव की यह नैतिक जिम्मेदारी नहीं थी कि वे साथ बैठकर मतभेदों को दूर करते?
चिराग पासवान के मुताबिक, कांग्रेस और महागठबंधन की इस उदासीनता से जनता के बीच एक बात साफ होती जा रही है — “महागठबंधन बिहार की जनता के मुद्दों को लेकर गंभीर नहीं है।”
कांग्रेस की गंभीरता पर सवाल

चिराग पासवान ने कहा कि बिहार के मतदाता अब सब समझ चुके हैं। उन्होंने कहा — “यह कांग्रेस की तरफ से गंभीरता की कमी को दर्शाता है। वे चाहे जितने दावे करें, सच्चाई यही है कि 14 नवंबर के बाद एनडीए बिहार में सरकार बनाएगी।”
उनका कहना था कि महागठबंधन के अंदर मतभेद और असहमति इतनी गहराई तक पहुंच चुकी है कि उसके घटक दल एक-दूसरे पर आरोप लगाने से भी नहीं हिचक रहे। ऐसे में सवाल यह उठता है कि जो गठबंधन अपने घटकों को साथ नहीं रख पा रहा, वह बिहार की 14 करोड़ जनता को कैसे एकजुट रख पाएगा?
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‘जो गठबंधन नहीं संभाल पा रहे, वे बिहार कैसे संभालेंगे’
चिराग पासवान ने अपने बयान में कहा — “जो गठबंधन को नहीं संभाल पा रहे हैं, मेरी समझ के परे है कि ये लोग कौन सी दुनिया में जी रहे हैं।”
उन्होंने कहा कि अब जब दूसरे चरण का नामांकन हो गया है, तब भी महागठबंधन के भीतर सीटों को लेकर स्पष्टता नहीं है। वे एक-दूसरे पर जिम्मेदारी डाल रहे हैं और जनता को भ्रमित करने की कोशिश कर रहे हैं।
चिराग ने कहा कि “ये लोग वर्तमान सरकार पर शोषण की बात करके बिखरे हुए गठबंधन के ऊपर पर्दा डालने का प्रयास कर रहे हैं।”
महागठबंधन पर सीधा वार – ‘आप आएंगे कैसे?’
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि गठबंधन के नेता चुनाव से पहले बड़ी-बड़ी बातें करते हैं — “हम सरकार में आएंगे तो ये करेंगे, वो करेंगे,” लेकिन सवाल यह है कि आप आएंगे कैसे?
उन्होंने कहा कि भारत के राजनीतिक इतिहास में आज तक ऐसा गठबंधन नहीं देखा गया, जहां घटक दल आपस में ही उलझे हों और एक-दूसरे के खिलाफ मोर्चा खोल रहे हों।
चिराग ने उदाहरण देते हुए कहा कि दूसरे चरण का नामांकन पूरा हो गया है, लेकिन अब भी यह साफ नहीं है कि महागठबंधन के कौन से दल कितनी सीटों पर चुनाव लड़ रहे हैं।
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राहुल गांधी और तेजस्वी यादव पर निशाना
चिराग पासवान ने कहा कि राहुल गांधी बिहार आए और लोगों को भ्रमित करने का प्रयास किया, लेकिन अब वे कहां हैं? उन्होंने तंज भरे अंदाज़ में कहा कि “राहुल गांधी और तेजस्वी यादव की नैतिक जिम्मेदारी थी कि वे अपने गठबंधन के अंदर चल रहे मतभेदों को दूर करें, लेकिन वे गायब हैं।”
उन्होंने कहा कि इससे यह साबित होता है कि कांग्रेस बिहार को लेकर गंभीर नहीं है।
जनता का मूड और एनडीए का भरोसा
चिराग पासवान ने दावा किया कि “महागठबंधन चाहे जितने भी लोकलुभावन वादे कर ले, बिहार की जनता अब समझ गई है।”
उनके अनुसार, “14 नवंबर के बाद बिहार में एनडीए की सरकार बनना तय है, क्योंकि जनता अब भ्रमित नहीं होने वाली।”
उन्होंने कहा कि “जो लोग अपने गठबंधन में पांच-छह घटक दलों को एक साथ नहीं रख पा रहे, वे बिहार की जनता को कभी एकजुट नहीं रख सकते।”
बिहार में सियासी बयानबाज़ी का दौर तेज़
Bihar Election 2025 के इस चरण में जहां एक ओर नामांकन प्रक्रिया अपने निर्णायक मोड़ पर है, वहीं दूसरी ओर नेताओं की बयानबाजी ने सियासत को और गर्मा दिया है।
चिराग पासवान का यह बयान न सिर्फ महागठबंधन पर हमला है, बल्कि एनडीए की ओर से आत्मविश्वास का संकेत भी देता है। बिहार की राजनीति अब 14 नवंबर की दिशा में बढ़ रही है, जहां यह तय होगा कि जनता किस पर भरोसा करती है – एकजुट एनडीए पर या बिखरे हुए महागठबंधन पर।
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