Patna: बिहार की नई सरकार के पहले मंत्रिमंडल के गठन के बाद अब लोगों को इंतजार है कि दूसरा मंत्रिमंडल विस्तार कब होगा। भास्कर को विश्वसनीय सूत्रों ने बताया कि नीतीश हफ्तेभर में पहला कैबिनेट विस्तार करेंगे। यह 29 तारीख को हो सकता है। इसकी वजह है कि विधानमंडल की कार्यवाही खत्म होने के तुरंत बाद विस्तार किया जाना है।
सूत्रों के मुताबिक, इस विस्तार में भाजपा के मंत्रियों का कोटा बढ़ सकता है। अभी भाजपा कोटे से 7 और जदयू कोटे से 5 मंत्री हैं। इनमें से भी जदयू कोटे से मेवालाल चौधरी इस्तीफा दे चुके हैं यानी नीतीश समेत 5 बचे।
भाजपा के कोटे में 19 हो सकती है मंत्रियों की संख्या
बिहार में छोटे भाई की भूमिका में रहने वाला NDA इस बार 74 सीटें जीतकर बड़े भाई के रोल में हैं। असर सब जगह दिख रहा है। पिछली सरकार में भाजपा के कोटे से डिप्टी सीएम समेत 13 मंत्री थे। सीएम को मिलाकर जदयू कोटे से 22 मंत्री थे। अबकी बार विस्तार में भाजपा के कोटे में मंत्रियों की संख्या 19 तक हो सकती है और जदयू के कोटे से 16.
कैबिनेट विस्तार में अभी जदयू कोटे में सीएम समेत 5 मंत्री हैं। 11 और शपथ ले सकते हैं यानी कुल 16. भाजपा के अभी 7 मंत्री हैं। 12 और मंत्री बन सकते हैं यानी कुल 19। बिहार में कुल 44 विभाग हैं, लेकिन यहां मंत्रियों के लिए 36 पद ही स्वीकृत किए गए हैं। जो विभाग बचते हैं, उन्हें मुख्यमंत्री देखते हैं।
अभी एक मंत्री पर 5-5 विभागों की जिम्मेदारी
16 नवंबर को नीतीश कुमार ने एनडीए के घटक दलों के नेताओं के साथ शपथ ली थी, लेकिन उस समय सांकेतिक रूप से कुछ ही नेताओं का शपथ हो पाई थी। इसी वजह से एक-एक मंत्री को पांच-पांच विभागों की जिम्मेदारी दी गई है।
डिप्टी सीएम तारकिशोर प्रसाद के पास 6, विजय कुमार चौधरी और अशोक चौधरी को 5 विभाग, जबकि विजेंद्र प्रसाद यादव को 4 विभाग दिए गए हैं। दूसरी डिप्टी सीएम रेणु देवी, मंगल पांडेय, अमरेंद्र प्रताप और जीवेश कुमार को 3-3 विभाग देखने हैं। रामसूरत राय और संतोष कुमार सुमन दो-दो विभागों की जिम्मेदारी देखेंगे। शीला कुमारी, मुकेश सहनी और रामप्रीत पासवान एक-एक विभाग देखेंगे जबकि मेवालाल चौधरी इस्तीफा दे चुके हैं।