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बीते दिनों राजीव नगर थाना अंतर्गत एक मामला सामने आया था। केस नम्बर 238/22 के दौरान पिंकी शर्मा द्वारा रामनगरी मोड़ पटना निवासी आलोक कुमार पर रुपये ले कर नही देने व मांगने पर मारपीट का आरोप लगाया था। पिंकी शर्मा द्वारा लगाए गए आरोप का खंडन करते हुए आलोक कुमार आज सामने आए और खुले तौर पर प्रेस वार्ता कर अपना पक्ष रखा। आलोक ने बताया आज मेरी शादी तय थी,आज हम शादी की तैयारी करते लेकिन उस फ्रॉड महिला के लगाए गए आरोप के कारण मेरा जीवन ,मेरा करियर बर्बादी के कगार पर है। मेरी शादी टूट चुकी है और मैं यहाँ आप मीडिया से न्याय की उम्मीद में हूँ। उस औरत ने मुझ पर मौखिक रूप से तीन वर्ष तक यौन शोषण व ठगी का आरोप भी लगाया है लेकिन उसके द्वारा ही थाना में लिखाये गए एफआईआर में कही भी इसकी पुष्टि नही की गई है। बेवजह मुझे टारगेट कर ब्लैकमेल करने के चक्कर मे ये सब स्वांग रचा जा रहा है।


आलोक कुमार ने भी राजीव नगर थाने में ही केस नम्बर 239/22 के अंतर्गत केस दर्ज करवाया है और अपने आरोप को खारिज करते हुए सभी डॉक्यूमेंट भी पेश किया है। आलोक कुमार बताते हैं कि 15 जुलाई 200 को हमारी पहली बार चैट फेसबुक के जरिये हुई। पहली चैट वाले दिन से ले कर आज तक लगभग एक साल 10 महीना हम लोग संपर्क में थे। संपर्क के दौरान पारिवारिक बाते होने लगी । कुछ दिनों बाद ही इसने अपने पति को ही जेल भेजने वाली बात बताई और इसके संबंध किसी विवेक के नाम से भी है स्वीकारा था। इसने अपने पति को भी चुटिया थाना रांची झारखंड में केस नम्बर 225/20 में posco act के अंतर्गत जेल भिजवा चुकी है।


कुछ दिनों इसने अपने आप को मजबूर व आर्थिक रूप से कमजोर होने की बात कर मुझसे पैसे मांगती थी । पैसों की आदान प्रदान के बाद ये जहाँ से भी पैसे मंगवाती थी मेरे अकाउंट में भेजती थी और मुझसे कैश लिया करती थी। इसका कारण इसने अपना एटीएम कार्ड बंद होने और रांची जाने पर ही नया कार्ड बनाने की बात बताई।

कब कब कितने नगद का भुगतान मैंने किया है उसका पूरा लेखा जोखा है मेरे पास। आलोक कुमार ने इससे जुड़े कुछ सबूत भी पेश किए। सब कुछ नार्मल था जब से इसको मेरी शादी की बात पता चली है इसने मुझे ब्लैकमेल करना स्टार्ट कर दिया है। मुझसे पैसों की डिमांड करने लगी और मेरे घर आ कर तमाशा करने लगी। मेरे माँ के साथ मारपीट भी किया,जिसका एफआईआर भी राजीव नगर थाने में मैने दर्ज करवा रखा है। मेरे घर जब ये तमाशा होने लगा तो सबसे पहले थाना में संपर्क कर मैने ही उन्हें बुलाया और सभी घटनाओं को जानकारी दी।


मैने अपने परिवार वालो से कभी कोई चीज़ नही छुपाई। इस औरत का मेरे घर वालो से मिलना जुलना सब निरंतर था। 10 – 11 महीने पहले ये अपने बेटी के साथ आई और मुझसे बहुत आग्रह करने पर मैंने इसकी मदद हेतु बेटी और बेटा का एडमिशन भी करवाया और अब पैसा के लोभ में मुझे बदनाम कर रही है। आलोक कुमार ने आगे कहा मेरे ऊपर विरुद्ध लगाए गए लिखित एफआईआर में और मौखिक रूप से लगाये गए आरोप में बहुत अंतर है। लिखित एफआईआर में सिर्फ मारपीट व रुपये नही देने का आरोप है लेकिन मौखिक रूप से मुझपर यौन शोषण का आरोप लगाया जा रहा है। जिससे मेरी समाज मे बदनामी, करियर चौपट व शादी भी टूट चुकी है।

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